नारी के सवाल अनाड़ी के जवाब
प्रश्न 1. अनाड़ी जी, क्या आप मेरे सवाल को प्रथम पुरस्कार पाने का आशीष देंगे?
कृष्णा श्रीवास्तव
ए/702, कुसुम विला
सैक्टर ‘सी’, महानगर, लखनऊ-226006 (उ.प्र.)
अनाड़ी दिल खोलकर आपको
सही-सही बताता है,
कि जिस प्रश्न का उत्तर
सबसे अच्छा बन जाय
वही प्रथम पुरस्कार पाता है।
आपने प्रश्न पूछा है
प्रथम पुरस्कार की बेकरारी के कारण,
पर मैं दे रहा हूं
अपने उत्तर की
ईमानदारी के कारण।
प्रश्न 2. अनाड़ी जी, टी.वी. सीरियलों में ‘इसका उसके साथ, उसका इसके साथ’ चक्कर क्यों चलता रहता है?
समृद्धि लालगढ़िया
24, सदर बाजार
श्रीगंगानगर-3335001 (राज.)
फोन-01542440420
जो चलता रहता है
अधिकांश देखने वालों के
दिमाग़ और दिल की कल्पनावाहिकों में,
वही तो दिखाया जाता है
टेलीवीज़न के धारावाहिकों में।
वे तो और भी बढ़ा-चढ़ा कर दिखाते हैं,
मनोलोक में विकृत कल्पनाएं दौड़ाते हैं।
ताकि दर्शक के अन्दर जो नहीं जगा है
वह भी जागे,
उसको बांध लेते हैं कहानी के धागे।
फिर कृतियां, अनुकृतियां, विकृतियां
वापस समाज में आती हैं,
और एक का दूसरे से
दूसरे का तीसरे से
सचमुच चक्कर चलवाती हैं।
प्रश्न 3. अनाड़ी जी, कहा जाता है कि नारी तन से कोमल पर मन से कठोर होती है, अगर यह बात सही है तो फिर वह बात-बात पर रोती क्यों है?
दिव्या कौशिक
चन्दन सागर वैल
बीकानेर-334001 (राज.)
मोबाइल-09667003743
नारी तन से कोमल
और पुरुष बलशाली होता है ये माना,
पर मन की कोमलता
और कठोरता को नापने का
नहीं है कोई निश्चित पैमाना।
आंसू क्या है
भावनाओं का एक खारा समन्दर,
आवेग के समय
किसी के बाहर उमड़ता है
किसी के अन्दर।
प्रश्न 4. अनाड़ी जी, ‘गृहलक्ष्मी’ पत्रिका ने एक दिन मेरी मुलाकात आपसे कराई थी। बरसों पुरानी हमारी मुलाकात बन गई है एक ‘प्रेम बन्धन’। ‘मोहब्बत’ का यह राज़ अगर खुल जाए तो अनाड़िन का सामना कैसे करेंगे?
मंजू शर्मा
w/o. श्री वी.के.शर्मा, AGE, E/M, GE(1) Air Force
C/o. 56, APO श्रीनगर-396804 (जे. एंड के.)
मोबाइल-09419015263
प्रेम का बन्धन बहुत पवित्र होता है,
मौहब्बत में महकता हुआ इत्र होता है,
अगर सीमा लांघे तो
विषैला और विचित्र होता है।
जो मुझसे मौहब्बत करते हैं
मैं उनसे मौहब्बत करता हूं,
इसलिए किसी से नहीं डरता हूं।
अनाड़िन जी जानती हैं कि
कामनाएं मेरी नहीं हैं काली,
और वे हैं बड़े दिल वाली।
प्रश्न 5. अनाड़ी जी, अधिकांश पति अपनी पत्नी के सामने दूसरी महिलाओं की प्रशंसा करते हैं और पत्नी में कमियां निकालते हैं, क्या यह अच्छी बात है?
सरला सक्सेना
4-बी, बल्लभनगर कॉलोनी
पीलीभीत (उ.प्र.)
मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है
प्रशंसा करता है तो प्रशंसा पाता है,
इसमें आपका क्या जाता है?
बेकार की ईर्ष्या से पत्नियां
स्वयं को न जलाएं,
पति की क्या चीज़ अच्छी नहीं लगती
अकेले में प्रेम से बताएं।
पति यदि दूसरों के सामने
पत्नी में दोष निकाले,
तो पत्नी न करे स्वयं को क्रोध के हवाले,
बाद में मधुर व्यंग्य से काटिए
जी के जंजालमयी जाले।
कहिए— माना कि मेरे अन्दर हैं
बेशुमार कमियां
पर सबसे सच्चे और
सर्वगुण सम्पन्न हैं मेरे मियां।
प्रश्न 6. अनाड़ी जी, क्यों पिसती है औरत पति और पुत्र के बीच, जबकि दोनों ही हैं उसके करीब?
गार्गी अग्रवाल
फ्लैट नं. 301, सूर्याविजगढ़,
असी पोस्ट ऑफिस के पास
वाराणसी-221005 (उ.प्र.)
मोबाइल-09793550077
पति और पुत्र
दोनों का चलता है उस पर ज़ोर,
पिसती है तब
जब स्वयं को समझती है कमज़ोर।
निदान ये है कि
दिल और दिमाग़ में
संतुलन का मेल हो,
न कि अपेक्षाओं और उपेक्षाओं का
निरंकुश खेल हो।
प्रश्न 7. अनाड़ी जी, ज़िन्दगी क्या है, क्यों है और कैसे है?
संतोष रानी बत्रा
द्वारा-श्री मुकेश कुमार बत्रा
बत्रा हाउस, अमया गार्डन, फ्लैट नं. ए-1,
टापी नगर, भुसावल-425201 (महा.)
ज़िन्दगी क्या है
इस विषय पर
वैज्ञानिकों का अनुसंधान जारी है,
क्यों और कैसे के जवाब में
आपकी स्वयं की समझदारी है।